https://amzn.to/2OzRXKT TECHNICAL : April 2019

Monday, April 15, 2019

आईटीआई के बाद CTI करने का लाभ

आईटीआई के बाद CTI करने का लाभ 

 यह सवाल युवा वर्ग के लिए बहुत अहम है। 10वीं कक्षा के बाद विद्यार्थियो के सामने यह यक्ष प्रश्न खड़ा हो जाता है कि वे कौन क्षे‍त्र में करियर बनाएं, जिसमें अच्छी संभावनाएं हों और साथ ही यह कम खर्चीला हो। अगर ऐसे विद्यार्थियों की रुचि मैकेनिकल क्षेत्र में है तो भारत सरकार द्वारा संचालित औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आईटीआई) में इनके लिए बेहतर विकल्प हो साबित हो सकते हैं। 
इन संस्थानों में सरकार द्वारा कई मैकेनेकिल, इलेक्ट्रॉनिक, रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने वाले कोर्स संचालित किए जाते हैं। इन संस्थानों में 10वीं के बाद प्रवेश पाया जा सकता है। इन संस्थानों में मैकेनिकल क्षे‍त्र में ‍‍‍‍विद्यार्थियों को व्यवहारिक ज्ञान भी दिया जाता है। 

राज्य के हर जिले में की शाखाएं रहती हैं। इन संस्थाओं में प्रशिक्षण के बाद वार्षिक परीक्षाएं आयोजित की जाती हैं। प्रैक्टिकल टेस्ट भी होते हैं। आईटीआई में सरकार के नियमों के अनुसार प्रशिक्षणार्थियों के छात्रवृति की सुविधाएं भी प्रदान की जाती हैं। 
आईटीआई में प्रशिक्षण प्राप्त करने के उपरांत सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों जैसी एनटीपीसी, भेल, में रोजगार के अवसर मिलते हैं, क्योंकि ये कंपनियां आईटीआई के साथ अनुबंध करती हैं। आईटीआई में कम्यूटर ऑपरेटर, इलेक्ट्रिकल, विद्युतकार, रेडियो, टीवी मैकेनिक, डीजल मैकेनिक जैसे कोर्स इनमें संचालित होते हैं।

नौकरी के लिए आवेदन करने के अलावा आप खुद का व्यवसाय भी शुरू कर सकते हैं। ट्रेनिंग लेने के बाद आपको अपने व्यावसाय से जुड़ी हर काम की समझ हासिल कर लेनी होगी। लेकिन अपनी पूंजी लगाकर व्यवसाय खड़ा करना हमेशा चुनौतीपूर्ण होता है। इसमें पूंजी डूबने की सम्भावना भी बनी रहती है। अगर आप यह खतरा उठा सकते हैं तो जरूर आपको इस क्षेत्र में कोशिश करनी चाहिए।
वेतनमान व्यवसाय और पद के अनुसार अलग-अलग है। लेकिन इस क्षेत्र में अनुभव के आधार पर वेतनमान बढ़ने की प्रबल सम्भावना होती है। इंजीनियरिंग ट्रेड में आपको आसानी से 3 लाख से 5 लाख वार्षिक वेतनमान पर नौकरी मिल सकती है और नॉन-इंजीनियरिंग ट्रेड में यह वेतनमान 2.5 लाख से 4.5 लाख तक होता है
  

Thursday, April 4, 2019

आईटीआई के बाद कहाँ जॉब के लिए एप्लाय कर सकते हो

आईटीआई के बाद कहाँ जॉब के लिए एप्लाय कर सकते हो 
अगर आप भी सरकारी नौकरी चाहते हैं तो ITI कोर्स जरूर कर लें. क्योंकि आईटीआई सर्टिफिकेट धारकों के लिए बड़ी संख्या में सरकारी नौकरियां निकलती है. जानें कैसे कर सकते हैं ये कोर्स.
आइए जानते हैं इस ITI कोर्स के बारे में...
ITI कोर्स खास उन लोगों के लिए डिजाइन किया गया है जो जल्दी नौकरी करना चाहते हैं. आईटीआई की फुलफॉर्म Industrial Training Institutes यानी औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान है. आईटीआई करने के बाद में आप सरकारी और प्राइवेट नौकरी आसानी से पा सकते हैं. इस कोर्स में अलग- अलग प्रकार के ट्रेड होते. आईटीआई के सरकारी, प्राइवेट कॉलेज मौजूद है 
बता दें, जो छात्र आईटीआई से डिप्लोमा करता है. उसे किसी ना किसी एक विशेष ट्रेड से ही अपना डिप्लोमा प्राप्त करना पड़ता है. जैसे कि अगर छात्र की रुचि इलेक्ट्रिकल में है. तो वह इलेक्ट्रिकल से आईटीआई का डिप्लोमा प्राप्त कर सकता है. मैकेनिकल फिटर कंप्यूटर इत्यादि दूसरी शाखाओं से भी आईटीआई का डिप्लोमा प्राप्त कर सकते हैं.
ट्रेड चुनने से पहले रखें खास ध्यान
अपनी अपनी रुचि के अनुसार कोई भी एक ट्रेड चुनकर अपना आईटीआई का डिप्लोमा प्राप्त कर सकते हैं. एक बात का विशेष ध्यान रखें कि सभी ट्रेड सभी आईटीआई संस्थानों में नहीं पाई जाएगी यह आपको एडमिशन लेने से पहले पता करना होगा कि उस आईटीआई में कौन-कौन सी ट्रेड मिल सकती है.
आईटीआई के लिए फीस
अगर आपको गवर्नमेंट कॉलेज को एडमिशन मिल जाता है तो कोई फीस नहीं देनी होगी, लेकिन अगर आप प्राइवेट कॉलेज में करना चाहते हैं, तो वहां की कॉलेज के अनुसार देनी होगी.
एडमिशन प्रोसेस
आईटीआई में एडमिशन के लिए आपको फॉर्म भरकर जमा करना होगा, जो हर साल जुलाई में निकलते हैं. इसके फॉर्म हर आईटीआई से आप खरीद सकते हैं. मेरिट बेस पर आपका एडमिशन होगा. इसमें एडमिशन के लिए कोर्स आपकी क्वॉलिफिकेशन के बेस पर होता है. 8वीं, 10वीं और 12वीं पास स्टूडेंट एडमिशन ले सकते हैं.
आईटीआई डिप्लोमा के बाद नौकरी
आईटीआई डिप्लोमा करने के बाद में सबसे बड़ा सवाल यही होता है कि हम कहां पर नौकरी कर सकते हैं. बता दें,  आईटीआई डिप्लोमा करने के बाद आपके सामने नौकरी के बहुत सारे विकल्प खुल जाएंगे. कई सरकारी संस्थान वैकेंसी निकालती है. जिसमें आईटीआई डिप्लोमा मांगती है. इस कोर्स के बाद आप आसानी से सरकारी नौकरी पर भी लग सकते हैं.
विभिन्न केंद्र व राज्य सरकार के विभागों ने आईटीआई पास के लिए वैकेंसी निकाली है. इनमें टेक्‍नीशियन, फिटर, ऑपरेटर, सर्वेयर व अन्य पदों के लिए आवेदन मांगे गए हैं. कुल 1000 पदों के लिए आवेदन मांगे गए है


अभी आप उप्र टेक्निशन का फार्म भर सकते है जिसमे QULIFICATION आईटीआई है 

Wednesday, April 3, 2019

आईटीआई के बाद अप्रेंटिस के अवसर कहा कहा होते है

आईटीआई के बाद अप्रेंटिस के अवसर कहा कहा होते है
दोस्तों आज में आपको बताने जा रहा हु की आप आईटीआई के बाद कहा कहा पर अप्रेंटिस ले लिए एप्लाय कर सकते है जैसे ही आपका आईटीआई रिजल्ट ऑक्टूबर में आता है तो आपको सबसे पहले आपको NCVT MIS पोर्टल पर अप्रेंटिस का रजिस्ट्रशन करना होता है 
            
    जिसके बाद में आप NCVT MIS  पोर्टल से बहुत से अप्रेंटिस के लिए आवेदन कर सकते है 
  
इसके अलवा आपको नवंबर में आपको रेलवे के कई बोर्ड में अप्रेंटिस की भरतिया  देखने को मिलेगी जिसमे आपको ऑनलइन फार्म भरने रहते है जिसके १ से २ महेने बाद उसकी मेरिट लिस्ट आती है जो की आपके आईटीआई के  % के आधार पर रहती है यदि आपका नाम मेरिट में आता है तो आपका सेलेक्शन एक वर्ष के प्रशिक्छण के लिए हो जाता है प्रशिक्छण के दौरान आपको एक स्टेन्डर सेलरी मिलेंगे जिसके बाद आपको NCVT  की एग्जाम  होगा जिसके बाद आपको NAC सर्टिफिकेट मिलेगा जिसके आधार पर आपको भर्तियों में कुछ पद आपके लिए रिजर्व रहेंगे 



इसके आलवा आपको  
 
INDIAN NAVY 
HAL 
DRDO
PORT 
BHEL 
SAIL ONG
   
                 जैसी महारत्न कंपनी में अप्रैंटिस कर सकते है 

Monday, April 1, 2019

अप्रेंटिस क्या है ? क्यों ज़रूरी है अपरेंटिसशिप ? पूरी जानकारी यहाँ प्राप्त करें।

अप्रेंटिस क्या है ? क्यों ज़रूरी है अपरेंटिसशिप ? पूरी जानकारी यहाँ प्राप्त करें।

आपने अक्सर देखा होगा की रेलवे, ओइनजीसी, आर्डिनेंस, IOCL आदि में अप्रेंटिस की भर्ती निकलती रहती है। अप्रेंटिसशिप, उम्मीदवारों के लिए बहुत अच्छा मौका होता है अपने कौशल को बढ़ाने के लिए। आपमें से बहुत से अभ्यार्थी होंगे जो अप्रेंटिस के बारे में नहीं जानते हैं की ये क्या होता है, इससे क्या फायदा होगा और ये कैसे करते हैं, तो इन सबकी जानकारी हम आपको इस लेख के द्वारा बताएंगे।

अप्रेंटिस क्या है

जब भी कोई अपरेंटिस भर्ती देखते हैं तो मन में सबसे पहला सवाल आता है वो ये की अप्रेंटिस क्या है ?अपरेंटिस का अर्थ होता है प्रशिक्षु। अप्रेंटिसशिप एक प्रकार की प्रशिक्षण प्रणाली है जिसमे उम्मीदवार को नौकरी के सारे गुर सिखाये जाते हैं ये एक प्रकार की ट्रेनिंग प्रक्रिया होती है इसमें आपको किसी सरकारी दफ्तर में या किसी निजी दफ्तर में होने वाले काम का प्रशक्षिण दिया जाता है।
अप्रेन्टिशशिप एक दोहरी प्रशिक्षण प्रणाली है जिसमे प्रशिक्षु उद्यौगिक पर्यवेक्षण के अंतर्गत ऑन-द-जॉब प्रशिक्षण (ओजेटी) और कक्षा संबंधित निर्देश दोनों का ज्ञान प्राप्त करता है। इसके माध्यम से प्रशिक्षु कुशल व्यवसाय के व्यावहारिक और सैद्धांतिक पहलुओं को सीखते हैं। अप्रेंटिसशिप 1 या 1.5 साल की कुशलता और योग्यता की ट्रेनिंग होती है इसमें प्रशिक्षु को कुछ रूपये भी दिए जाते हैं। साथ ही साथ आपको उसी आर्गेनाइजेशन में स्थाई नौकरी भी मिल सकती है।
भारत सरकार भी भारत वर्ष में उम्मीदवारों को कौशल बनाने के लिए बहुत सारे प्रयास कर रही है। इसके लिए भारत सरकार ने नेशनल अप्रेंटिसशिप ट्रेनिंग स्कीम, कौशल विकास योजना जैसी कई योजनाएं लागू करी हुई हैं।

अप्रेंटिस एक्ट 1961

1961 में भारत में प्रशिक्षु अधिनियम बनाया गया था। इस एक्ट के अंतर्गत उद्योगों में प्रशिक्षुओं के प्रशिक्षण के कार्यक्रम को नियंत्रित करने के लिए बनाया गया था, ताकि प्रशिक्षण पाठ्यक्रम , प्रशिक्षण की अवधि आदि निर्धारित हो जो कि केन्द्रीय शिक्षुता परिषद द्वारा निर्धारित किया गया हो और प्रशिक्षण के लिए उद्योग में उपलब्ध सुविधाएं उपलब्ध हों ताकि प्रशिक्षु सारी सुविधाओं का उपयोग कर सकें।
अप्रेंटिस एक्ट 1961 में अधिनियमित और 1962 में प्रभावी रूप से लागू किया गया था। प्रारंभ में, इस अधिनियम में व्यापार शिक्षुओं के प्रशिक्षण की परिकल्पना की गई थी। लेकिन स्नातक और डिप्लोमा इंजीनियरों के प्रशिक्षण को “स्नातक” और “तकनीशियन” प्रशिक्षु के रूप में शामिल करने के लिए 1973 में इसमें संशोधन किया गया था। 1986 में इस अधिनियम को एक बार और आगे संशोधित किया गया, इसके कार्यक्षेत्र में 10+2 व्यावसायिक धाराओं का प्रशिक्षण “तकनीशियन (व्यावसायिक)” के रूप में प्रशिक्षित जाना तय किया गया।

अप्रेंटिस के लिए योग्यता

जो छात्र इंजीनियरिंग में डिग्री या डिप्लोमा प्राप्त कर चुके हैं या +2 की व्यावसायिक योग्यता रखते हैं या उन्होंने 10 + आईटीआई(ITI) किसी ट्रेड से किया है तो आप सरकार द्वारा या निजी क्षेत्र में निकाली गयी अप्रेंटिस भर्ती के लिए आवेदन कर सकते हैं। अप्रेंटिसशिप के लिए उम्मीदवार की आयु 16 वर्ष होनी आवश्यक है। इसके लिए कोई ऊपरी आयु सीमा निर्धारित नहीं है।

कैसे करें अप्रेंटिस

भारत में अप्रेंटिस करने के लिए भारत सरकार ने नेशनल अप्रेंटिस ट्रेनिंग स्कीम या राष्ट्रीय प्रशिक्षु प्राक्षिण योजना लागू की हुई है। अप्रेंटिस के लिए अभियार्थी को इस योजना में पंजीकरण करना आवश्यक है।
भारत में राष्ट्रीय शिक्षुता प्रशिक्षण योजना व्यावहारिक ज्ञान और कार्य के क्षेत्र में आवश्यक कौशल के साथ तकनीकी रूप से योग्य युवाओं को सक्षम करने वाला एक वर्ष का कार्यक्रम है। प्रशिक्षुओं को उनके कार्य के स्थान पर संगठन द्वारा प्रशिक्षण दिया जाता है। अच्छी तरह से विकसित प्रशिक्षण मॉड्यूल वाले प्रशिक्षित प्रबंधक यह सुनिश्चित करते हैं कि प्रशिक्षुओं को नौकरी को जल्दी और सक्षम रूप से सीखना शिक्षुता की अवधि के दौरान, प्रशिक्षुओं को एक वजीफा राशि दी जाती है, जिनमें से 50% भारत सरकार के नियोक्ता के लिए प्रतिपूर्ति होती है प्रशिक्षण अवधि के अंत में प्रशिक्षुओं को भारत सरकार द्वारा प्रवीणता का प्रमाण पत्र जारी किया जाता है जो भारत में सभी रोजगार एक्सचेंजों में वैध रोजगार अनुभव के रूप में पंजीकृत किया जा सकता है। प्रशिक्षुओं को केन्द्रीय, राज्य और निजी संगठनों में प्रशिक्षण के लिए रखा जाता है, जिनमें उत्कृष्ट प्रशिक्षण सुविधाएं हैं। राष्ट्रीय प्रशिक्षु प्रशिक्षण योजना स्किलिंग इंडियन यूथ के लिए भारत सरकार के प्रमुख कार्यक्रमों में से एक है।

क्यों करनी चाहिए अप्रेंटिस

अप्रेंटिसशिप, किसी संगठन में रह कर कौशल या व्यापार सीखने का परीक्षण समय है। अपरेंटिसप्रशिक्षण योजना एक ऐसी योजना है जहां युवाओं को तकनीकी रूप से योग्य लोगों व उद्यौगिक परिदृश्य में प्रशिक्षण से गुजरना होता है। सीखने के दौरान कमाई का दोहरा लाभ है। प्रशिक्षुओं को भारत के कुछ सबसे प्रसिद्ध संगठनों से अपने संबंधित क्षेत्रों में काम के नवीनतम अनुप्रयोगों, प्रक्रियाओं और तरीकों को सिखाया है जाता है। प्रशिक्षु प्रशिक्षण के दौरान कौशल, कार्य संस्कृति, नैतिकता और संगठनात्मक व्यवहार सीखता है। यह भविष्य में उसे / उसके सुरक्षित स्थायी रोजगार की मदद करने में काफी मदद करता है। एक वर्ष के प्रशिक्षण के अंत में उन्हें उनके विशेष क्षेत्र में उनके प्रशिक्षण और प्रवीणता को प्रमाणित करने वाला प्रमाणपत्र जारी किया जाता है। यह उनके प्रशिक्षण के बाद रोजगार की तलाश करते समय एक अनुभव प्रमाण पत्र के रूप में कार्य करता है।

अपरेंटिस वैकैंसीय

आईटीआई के अभियार्थी सबसे ज्यादा अप्रेंटिस जॉब के उत्सुक होते हैं। या ये कहें की आईटीआई के अभ्यार्थिओं के लिए अप्रेंटिस बहुत ही ज्यादा ज़रूरी है वैसे तो कोई भी अप्रेंटिस कर सकता है। प्रति वर्ष रेलवे, ONGC, आईओसीएल, आर्डिनेंस, PSU जैसे HAL, BEL आदि में आईटीआई फिटर, आईटीआई वेल्डर, इलेक्ट्रिशन, आदि के लिए अप्रेंटिस भर्ती निकलती रहती है।

रेलवे अपरेंटिस

रेलवे में नौकरी करने का बहुत अच्छा मौका होता है रेलवे अपरेंटिस। रेलवे की हाल की खबर के अनुसार रेलवे से अप्रेंटिस करने वाले युवाओं को रेलवे स्थायी नौकरी प्रदान कर सकता है। इसके अनुसार रेलवे के तकनिकी विभाग में पहले से ही 20% पद रेलवे से अप्रेंटिस करने वाले प्रशुक्षों के लिए सुरक्षित रहेंगे।

ओएनजीसी अप्रेंटिस

आयल एंड नेचुरल गैस कार्पोरेशन भी प्रति वर्ष पूरे भारत में विभिन्न जगहों के लिए अप्रेंटिस भर्ती निकलती है। केमिकल आदि से इंजीनियरिंग डिग्री या डिप्लोमा के छात्र ONGC अपरेंटिस भर्ती के लिए आवेदन कर सकते हैं।

ऑर्डनेन्स फैक्ट्री अप्रेंटिस

ऑर्डनेन्स फैक्ट्री या आयुध निर्माण फैक्ट्री भी बहुत अधिक संख्या में अप्रेंटिसशिप के लिए भर्ती प्रक्रिया आयोजित करती है। आईटीआई फिटर, आईटीआई मैकेनिक, आईटीआई इलेक्ट्रीशियन ट्रेड वाले अभ्यार्थी इसमें आवेदन कर सकते हैं।
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ITI के बाद क्या करे व कैसे बनाये अपना करियर

ITI के बाद क्या करे व कैसे बनाये अपना करियर

नमस्कार दोस्तों, कैसे हैं आप? उम्मीद है अच्छे ही होंगे। सक्सेस इन हिंदी एक बार फिर से आपकी सेवा में हाजिर है रोजगार से जुड़े विषय के साथ। इस आर्टिकल में हम आपको बताएँगे ITI के बारे में, कैसे करे ITI, कैसे ITI के बाद अपना करियर बना सकते है तो हो जाइये तैयार आज हम जानेंगे आई.टी.आई.क्षेत्र में करियर की बहुत सारी संभावनाओं के बारे में।
आई.टी.आई. में संभावना
दोस्तों, निःसंदेह सभी लोगों के लिए बी.टेक. या बी.ई. जैसे महंगे कोर्स या किसी आई.आई.टी. से इलेक्ट्रिकल या मैकेनिकल कोर्स की पढ़ाई कर पाना संभव नहीं है। क्योंकि अव्वल तो इनकी फीस बहुत ज्यादा होती है, दूसरा एक अच्छे इंस्टिट्यूट में दाखिला मिल पाना आसान नहीं होता। लेकिन निराश होने की जरुरत नहीं है। क्योंकि आई.टी.आई. का रास्ता अभी भी आपके लिए खुला है।
आई.टी.आई.में 100 से अधिक ट्रेनिंग कोर्स होते हैं। आप अपनी योग्यता और रूचि के अनुसार अपनी पसंद के क्षेत्र का चुनाव कर सकते हैं, जिसमें भी आप करियर बनाना चाहते हों। इंडस्ट्रियल ट्रेनिंग इंस्टिट्यूट (आई.टी.आई.) में आपको अपनी पसंद के क्षेत्र से सबंधित ट्रेनिंग करनी होती है। अधिकांश कोर्स 2 से 3 वर्ष के होते हैं। यह ट्रेनिंग सापेक्ष रूप में बेहद सस्ती पड़ती है।
आई.टी.आई. और उसके आगे की पढ़ाई
आई.टी.आई की सबसे अच्छी बात यह है कि आप हाईस्कूल की परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद ही इसके लिए आवेदन कर सकते हैं। इसमें ट्रेनिंग हासिल करने के लिए आपको एंट्रेंस एग्जाम क्वालीफाई करना होता है।
इसके बाद आपको इंजीनियरिंग ट्रेड और नॉन-इंजीनियरिंग ट्रेड में से अपना क्षेत्र चुनना होता है। उदाहरण के लिए इंजीनियरिंग ट्रेड में आर्किटेक्चरल असिस्टेंट, इलेक्ट्रीशियन, फिटर, रेडियोलोजी तकनीशियन आदि के लिए आप ट्रेनिंग करते हैं वहीं नॉन-इंजीनियरिंग ट्रेड में नीडल वर्क, क्राफ्ट्समेन फूड प्रोडक्शन, डाटा एंट्री ऑपरेटर, हेल्थ सेनिटरी इंस्पेक्टर आदि के लिए ट्रेनिंग लेते हैं।
इसके बाद आपको ऑल इंडिया ट्रेड टेस्ट क्वालीफाई करना होता है। सफल प्रतिभागियों को NTC नेशनल ट्रेड सर्टिफिकेट (एन.टी.सी.) या NAC नेशनल अपरेंटिसशिप सर्टिफिकेट (एन.ए.सी.) मिलता है। विभिन्न सरकारी-अर्धसरकारी और निजी क्षेत्रों में इस प्रमाणपत्र के आधार पर आपको नौकरी मिल सकती है।
लेकिन दोस्तों आई.टी.आई. के बाद आप एडवांस ट्रेनिंग इंस्टिट्यूट में भी जा सकते हैं। ए.टी.आई. में आप विशेषज्ञता की तरफ बढ़ते हैं| इसके अलावा लेटरल एंट्री के तहत इंजीनियरिंग में डिप्लोमा भी कर सकते हैं।
आई.टी.आई. के बाद नौकरी के लिए आवेदन
सरकारी और निजी दोनों क्षेत्रों में आई.टी.आई. प्रशिक्षित लोगों की काफी मांग रहती है। इंडियन आर्मी, इनलैंड वाटरवेस अथॉरिटी ऑफ इंडिया, NRHM नेशनल रूरल हेल्थ मिशन (एन.आर.एच.एम.), रेल इंडिया टेक्निकल एंड इकॉनोमिक सर्विस (राइट्स) लिमिटेड में आप आवेदन कर सकते हैं। साथ ही पब्लिक सेक्टर में भी आपको अच्छे अवसर मिलते हैं।
नौकरी के लिए आवेदन करने के अलावा आप खुद का व्यवसाय भी शुरू कर सकते हैं। ट्रेनिंग लेने के बाद आपको अपने व्यावसाय से जुड़ी हर काम की समझ हासिल कर लेनी होगी। लेकिन अपनी पूंजी लगाकर व्यवसाय खड़ा करना हमेशा चुनौतीपूर्ण होता है। इसमें पूंजी डूबने की सम्भावना भी बनी रहती है। अगर आप यह खतरा उठा सकते हैं तो जरूर आपको इस क्षेत्र में कोशिश करनी चाहिए।
वेतनमान व्यवसाय और पद के अनुसार अलग-अलग है। लेकिन इस क्षेत्र में अनुभव के आधार पर वेतनमान बढ़ने की प्रबल सम्भावना होती है। इंजीनियरिंग ट्रेड में आपको आसानी से 3 लाख से 5 लाख वार्षिक वेतनमान पर नौकरी मिल सकती है और नॉन-इंजीनियरिंग ट्रेड में यह वेतनमान 2.5 लाख से 4.5 लाख तक होता है।
यदि आप ITI इलेक्ट्रीशियन से कर रहे है या करना चाहते है तो ये किताब आपकी बहुत हेल्प करेगी ITI से जुडी सारी जानकारी आपको यहाँ मिल जाएगी, ये किताब हिंदी में लिखी है अभी जल्दी से बुक करे…

ITI CAREER HINDI

कैसे करें, यह सवाल युवा वर्ग के लिए बहुत अहम है। 10वीं कक्षा के बाद विद्यार्थियो के सामने यह यक्ष प्रश्न खड़ा हो जाता है कि वे कौन क्षे‍त्र में करियर बनाएं, जिसमें अच्छी संभावनाएं हों और साथ ही यह कम खर्चीला हो। अगर ऐसे विद्यार्थियों की रुचि मैकेनिकल क्षेत्र में है तो भारत सरकार द्वारा संचालित औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आईटीआई) में इनके लिए बेहतर विकल्प हो साबित हो सकते हैं। 
इन संस्थानों में सरकार द्वारा कई मैकेनेकिल, इलेक्ट्रॉनिक, रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने वाले कोर्स संचालित किए जाते हैं। इन संस्थानों में 10वीं के बाद प्रवेश पाया जा सकता है। इन संस्थानों में मैकेनिकल क्षे‍त्र में ‍‍‍‍विद्यार्थियों को व्यवहारिक ज्ञान भी दिया जाता है। 
राज्य के हर जिले में की शाखाएं रहती हैं। इन संस्थाओं में प्रशिक्षण के बाद वार्षिक परीक्षाएं आयोजित की जाती हैं। प्रैक्टिकल टेस्ट भी होते हैं। आईटीआई में सरकार के नियमों के अनुसार प्रशिक्षणार्थियों के छात्रवृति की सुविधाएं भी प्रदान की जाती हैं। 
आईटीआई में प्रशिक्षण प्राप्त करने के उपरांत सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों जैसी एनटीपीसी, भेल, में रोजगार के अवसर मिलते हैं, क्योंकि ये कंपनियां आईटीआई के साथ अनुबंध करती हैं। आईटीआई में कम्यूटर ऑपरेटर, इलेक्ट्रिकल, विद्युतकार, रेडियो, टीवी मैकेनिक, डीजल मैकेनिक जैसे कोर्स इनमें संचालित होते हैं।

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